नमस्कार दोस्तों आज मैं आपको आपकी बहुत बड़ी समस्या का समाधान बताने जा रहा हूं। क्या है वह समस्या? उस समस्या का नाम है कपड़ों में से बदबू का आना।
तो कैसे रोक सकते हैं इसको?
इसके लिए सबसे पहले हमें कपड़ों में से बदबू आने का कारण समझ लेना चाहिए। कपड़ों में से बदबू क्यों आती है, उसका कारण यह है कि कपड़ों में पसीना व गंदगी भर जाती है।
गर्मियों में कौन-कौन से वस्त्र पहने जाते हैं?
गर्मियों में मुख्यतः दो प्रकार के वस्त्र पहने जाते हैं। पहला सूती वस्त्र और दूसरा सूती तथा पॉलिस्टर से मिश्रित वस्त्र। क्या आपको पता है की बदबू किस प्रकार के वस्त्रों से आती है? हां दूसरा नंबर के वस्त्रों से बदबू आती है जो कि कपास व पॉलिस्टर के मिश्रण से बने हुए होते हैं।
यहां पर गौर करने वाली बात है, मैंने आपको बताया कि गर्मियों में दो प्रकार के ही वस्त्र पहने जाते हैं। पहला शुद्ध सूती और दूसरा मिश्रित। मैंने आपसे यह नहीं बोला कि १००% पॉलिस्टर के वस्त्र भी पहने जा सकते हैं। और कभी आप इन्हें पहनने की गलती भी मत कीजिएगा।
पॉलिस्टर और कपास के मिश्रित वस्त्रों में से बदबू क्यों आती है?
इस कपड़े में कपास तो आपके पसीने को सोख तो लेता है, या यूं कहें कि इस कपड़े में आपका पसीना भर तो जाता है, पर छूटता नहीं। यानी कि यह कपड़ा अपने में भरा हुआ पसीना, हवा में वापस छोड़ता नहीं है।
यह पसीना कपड़े में जमा-जमा सड़न व गंदगी उत्पन्न कर देता है। जो गंदगी बाद में बदबू उत्पन्न कर देती है।
इसके उलट यदि हम बात करें शुद्ध सूती कपड़े की, तो सूती कपड़े में गंदगी जमा ही नहीं होने पाती है। जैसे ही हमारे शरीर से पसीना बाहर निकलता है वैसे ही सूती कपड़े में वह पसीना सोख कर हवा में वितरित कर दिया जाता है।
तो क्या बात निकल कर सामने आती है। यही कि गर्मियों में मुख्यतः दो प्रकार के वस्त्र पहने जाते हैं, पहले शुद्ध सूती और दूसरे सूत वा पॉलिस्टर का मिश्रण वस्त्र।
सूत व पॉलिस्टर का मिश्रण वस्त्र अपने अंदर पसीने को जमा करके रखता है। वहीं कपास का वस्त्र लगातार पसीने को सोख कर दूर फेंकता जाता है। यही वजह है कि हमें गर्मियों में शुद्ध सूती कपड़े पहनने के लिए कहा जाता है।
धन्यवाद।
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